महिला दिवस: इन 7 महिलाओं ने उठाया पढ़ाई का झंडा

भारत में ऐसी कई महिलाएं रही हैं जिन्होंने शिक्षा के लिए कई काम किए

ऐसी महिला शिक्षकों ने भारतीय समाज और महिला शिक्षा प्रणाली का रुख ही बदल दिया

 80-90 के दशक में भारतीय शिक्षा के में क्षेत्र ऐसी कई महिलाएं रही हैं जिन्हें हम आज भी याद करते हैं

आज हम उन भारतीय महिला शिक्षक के बारे में जानेंगे जिन्होंने समाज में शिक्षा के क्षेत्र में महत्वपूर्ण योगदान दिया है

इस सूची में सबसे पहले नाम आता है सावित्री बाई फुले का. भारत की सबसे पहली महिला शिक्षक के तौर पर सावित्री बाई को जाना जाता है

Savitri Bai Phule

आजाद भारत के समय महिलाओं की शिक्षा के लिए बनाई गई पहली योजना 'राष्ट्रीय-शिक्षा समिति' की अध्यक्ष दुर्गाबाई देशमुख ही थी

Durgabai Deshmukh

मदादेवी वर्मा को एक स्वतंत्रता सेनानी के रूप में भी याद किया जाता है.उन्होंने भारतीय महिला सशक्तिकरण पर कई किताबें लिखी हैं

mahadevi Verma

कादंबनी को देश की पहली महिला फिजिशन के तौर पर जाना जाता है 

Kadambani Ganguly

81 साल की उम्र में विमला कौल ने गरीब बच्चों को मुफ्त शिक्षा दी. उनके  स्कूल का नाम गुलदस्ता है जहां बच्चों को फ्री में पढ़ाया जाता है

Vimla Kaul

13 साल की उम्र में चंद्रप्रभा सैकियानी ने अपने गांव की लड़कियों के लिए स्कूल खोला था और उसी उम्र में टीचर बन गईं

Chandraprabha Saikiani

बंगाल में जन्मी असीमा चटर्जी पहली महिला थी जिन्हें  इंडियन साइंस कांग्रेस की जनरल प्रेसिडेंट के तौर पर चुना गया था

Asima Chatterjee