पेड़-पौधों की जड़ें पानी के लिए अपना आकार बदल देती हैं
जलवायु परिवर्तन का जड़ों के काम करने की प्रक्रिया पर भी असर होता है.
शेर काफी सामाजिक होते हैं और झुंड में ही रहते हैं
जड़ें पानी की जरूरतों के मुताबिक अपना आकार बदल लेती हैं.
पौधों की जड़ें पानी से अपना संपर्क गंवाने पर अपनी शाखाएं बढ़ाना बंद कर देती हैं.
जड़ें बढ़ना तभी शुरू करती हैं जब उनका नमी से फिर से संपर्क हो पाता है.
पौधों में हारामोन की गतिविधि पानी की उपलब्धता के उतार चढ़ाव से संबंधित है.
बारिश के स्वरूपों में अनियमितता ने पौधों पर पानी का दबाव बढ़ा दिया है.
जड़ें पौधों ज्यादा पानी ग्रहण करने के लिए अपने आकार में अनुकूलता लाती हैं.
नमी से संपर्क होते ही ऑक्सिन हारमोन संकेत पानी के साथ अंदर जाकर शाखाएं बढ़ाता है.
नमी से संपर्क टूटते ही दूसरा हारमोन संकेतों के अंदर की ओर की गतिविधि रोक देता है.
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