चाचा-भतीजे की मेहनत, बन गया 13 लाख करोड़ का बैंक

हसमुख ठाकोरदास पारेख और दीपक पारेख बैंकिंग इंडस्ट्री में बड़े नाम हैं.

रिश्ते में दोनों चाचा और भतीजे हैं.

हसमुख पारेख और दीपक पारेख ने मिलकर एक बड़ा बैंक खड़ा कर दिया.

हसमुख ठाकोरदास पारेख ने 66 साल की उम्र में HDFC लिमिटेड की स्थापना की.

हसमुख ठाकोरदास ने भतीजे दीपक पारेख को अमेरिका से बुला लिया.

दीपक पारेख भी 80 के दशक में अपने चाचा के बैंकिंग बिजनेस में शामिल हो गए

साल 1995 से एचडीएफसी बैंक ने काम करना शुरू किया. 

अप्रैल 2022 में एचडीएफसी लिमिटेड का एचडीएफसी बैंक में विलय हो गया.

एचडीएफसी बैंक का कुल मार्केट कैप 13 लाख करोड़ से ज्यादा है.