लाल सागर आया खतरे में, बड़े हिस्सा पर कब्जा

लाल सागर आया खतरे में, बड़े हिस्सा पर कब्जा

ईरान के समर्थन वाले Houthi Group ने लाल सागर से जाने वाली समुद्री जहाजों पर हमले शुरू कर दिए है

हूती विद्रोहियो का यमन के एक बड़े हिस्सा पर कब्जा है, जिसमें लाल सागर से जुड़ा अहम पश्चिमी तट भी शामिल है

हूती विद्रोही ये हमले हमास के समर्थन में कर रहे हैं, जो गाजा में इजराइल से जंग लड़ रहे हैं

अभी तक हमले की जद में आने वाले अधिकतर जहाज इजरायल और इजरायल के व्यापारियों से जुड़े हुए हैं

हमले के चलते लाल सागर मार्ग से कारोबार करने वाली दुनिया की कई बड़ी शिपिंग फर्मों ने इस मार्ग पर अपने कारोबार रोक दिए हैं

लाल सागर आगे जाकर Suez Canal से मिलता है, जो यूरोप को एशिया से जोड़ने वाला सबसे प्रमुख जलमार्ग है

लाल सागर मार्ग बंद होने पर यूरोप से एशिया या एशिया से यूरोप माल की आवाजाही के लिए शिंपिंग कंपनियों को अब लंबा मार्ग लेना होगा

इससे न सिर्फ शिंपिंग कंपनियों की लागत बढ़ेगी, बल्कि पूरी दुनिया में महंगाई बढ़ने का सिलसिला एक बार फिर शुरू हो सकता है

स्वेज नहर संकट के चलते क्रूड ऑयल के दाम एक बार फिर से बढ़ सकते हैं. पिछले कुछ दिनों में रिजनल क्रूड ऑयल के दाम 6-8 डॉलर प्रति बैरल है

हूती विद्रोहियों के हमले बढ़ने से ग्लोबल लेवल पर सप्लाई चेन में रुकावट आने की आशंका बढ़ गई है

लाल सागर संकट से भारत का कोल इंपोर्ट नहीं प्रभावित होगा. इसका प्रमुख कारण यह है कि भारत अपना कोयला इंडोनेशिया और ऑस्ट्रेलिया से इंपोर्ट करता है

भारत अपना करीब 67 फीसदी कोयला इन्हीं 2 देशों से इंपोर्ट करता है

अमेरिका ने लाल सागर में जहाजों को निशाना बनाने वाली हूती मिसाइलों और ड्रोन का मुकाबला करने के लिए 10 देशों के साथ एक संयुक्त अभियान शुरू करने का ऐलान किया है