असम की बोरेल पहाड़ियों के बीच बसे गांव जतिंगा को 'चिड़ियों का सुसाइड पॉइंट' कहते हैं.
यहां 1-2 नहीं, काफी संख्या में चिड़िया सुसाइड करती हैं.
आत्महत्या की ये घटनाएं सितंबर से नवंबर के महीनों में ज्यादा होती हैं.
शाम 7 से रात 10 बजे तक यहां चिड़िया अपनी जान ले लेती हैं.
एक्सपर्ट्स का मानना है कि ज्यादा मैगनेटिक फोर्स इस रहस्यमयी घटना का कारण है.
ये भी माना जाता है कि कोहरे से भरे मौसम में यहां हवाएं बहुत तेज चलती हैं.
इस वजह से चिड़िया लाइट के सोर्स के पास उड़कर जाती हैं.
लाइट न होने के कारण उन्हें साफ दिख नहीं पाता और वो घरों, पेड़ों और गाड़ियों से भिड़ जाती हैं.
गांववालों का मनना है कि गांव में कोई बुरी शक्ति है जो पक्षियों को यहां जीवित नहीं रहने देती है.